गर्मी के मौसम में धीरे-धीरे बदलती रात के साथ साथ हर एक परिवार में एक नया उत्सव आता है। हाँ, हम बात कर रहे हैं जन्माष्टमी की, जो हर साल भगवान श्रीकृष्ण के जन्मदिन पर मनाई जाती है। हाल ही में शो “ये रिश्ता क्या कहलाता है” में जन्माष्टमी के मुक्कदर के बारे में महत्वपूर्ण खबरों की छवि आई है और आप सभी यह अचानक बदलती हुई कहानी के बारे में जानने के लिए उत्सुक हो रहे हैं।
ङरुकर भारतीय परिवार में किसी भी महीने में जन्मे हुए बच्चे की झूली होती हैं, इसलिए जन्माष्टमी पर नैतिक और अक्षरा के बीच खुदाई प्यार करने का एक बड़ा का हिस्सा है। इस बार, इस महत्वपूर्ण उत्सव में कुछ अतिरिक्त कुछ बड़ा हादसा हो सकता है।
जो अब तक इस सीरियल के पुराने एपिसोड्स का अनुभव जमा कर चुके हैं, उन्हें यकीन है कि इस परिवार में सब कुछ शांत और संयमित होता है। आपसी विवादों, जगड़ों और गड़बड़ियों की कुटिल दुनिया से दूर इस खुशहाल परिवार में खुशियों का वातावरण हमेशा रहता है। लेकिन, इस जन्माष्टमी पर बदलती की आड़ में हर कोई अलग ले रहा है।
जन्माष्टमी का ये अतिरिक्त खटका अक्षरा के साथ जुड़ी कहानी के रूप में आ सकता है। कई लोगों के मन में एक सोच उभरने लगी है कि इस जन्माष्टमी पर सरकार, जो स्थानीय तेरहताल स्ट्रीट चिल्ड के रूप में अक्षरा की परेशानियों के लिए जानी जाती है, वह अपनी मावीजी के पास चली जाएगी, जहां राखी मावीजी के साथ भयंकर एक्सीडेंट में ढील हो जाएगी और उसे तैराकीराज बीमारी के बाद बचाया जाएगा।
कुछ लोग कह रहे हैं कि अक्षरा जन्माष्टमी के दिन गायनजल के पास चली जाएगी और वहां अपने मित्रों के साथ मनाया जाएगा। लेकिन सच्चाई तो ये है कि अक्षरा का हर एक सपना संभव नहीं हो सकता है। वह इसे मानने के चल चित्रें महोब्बत और मजबूरी में अच्छा कर रहा है। उसे छोड़कर जानने के लिए हमें इंतजार करना होगा कि इस वर्ष जन्माष्टमी पर अक्षरा को क्या होगा और क्या हास्यास्पद यात्रा उसके लिए बचेगी?
हर जन्माष्टमी ऐसा होता है कि एक ताला खुलता है और गरम गरम भजन सुनाई देते हैं। इस बार, यह ताला अक्षरा के लिए खोला जा सकता है और हम देख सकते हैं कि जन्माष्टमी को एक अतुलनीय समाप्ति बंधुओं के बीच प्रदर्शित हो सकता है। जल्द ही हम ये भी जान सकते हैं कि क्या जन्माष्टमी के उपहार के रूप में उनके बीच प्यार बादेश्यम द्वारा भेजा जाएगा और क्या अक्षरा को अपने प्रेम पति नैतिक के साथ रोमांटिक एवं खुशाली भरे तीन घंटों के लिए भेजा जाएगा।
जन्माष्टमी का अगला एपिसोड 5 सितंबर को रात 9:30 बजे भारतीय मानक समय पर इंडिया में कथा के विशेष रूप में प्रस्तुत किया जाएगा, जहां बड़े पर स्पेशल रागों के साथ हर धाराओं में बसी अश्रुस्वर प्रेम और शांति की कथा दिखाई देगी। इसे जब भी समय निकले, अपने परिवार के संगीताम भाग्य और खुद को बांधने के लिए इस उन्नतिकथा का आनंद लें।